बस्ती में तत्काल प्रभाव से धारा 144 लागू

                            (विशाल मोदी) 

बस्ती (सू.वि.उ.प्र.) । जिलाधिकारी प्रियंका निरंजन ने पूरे जनपद में जनहित में तत्काल प्रभाव से 31 जुलाई तक धारा 144 का प्रतिबंधात्मक आदेश लागू कर दिया है। इस संबंध में उन्होने बताया कि कानपुर में जुमा की नमाज के दौरान घटित हिंसात्मक घटना एवं 6 जुलाई 2022 को प्रस्तावित बी.एड. की प्रवेश परीक्षा कार्यक्रम के दृष्टिगत जनपद में शान्ति, सुरक्षा एवं कानून व्यवस्था बनाये रखने के उद्देश्य यह प्रतिबंधात्मक आदेश लागू किया गया है।

जिलाधिकारी ने कहा कि किसी भी सार्वजनिक स्थल पर 05 या 05 से अधिक व्यक्तियों का समूह एकत्रित नही होंगा। कोई भी व्यक्ति ऐसे व्यक्तियों के समूह के साथ सम्मिलित नही होगा, जिसका उद्देश्य किसी विधि विरूद्ध गतिविधि में भाग लेना हो। कोई भी सभा करने से पूर्व संबंधित उप जिला मजिस्ट्रेट अथवा जिला मजिस्ट्रेट से अनुमति लेनी होंगी। उन्होंने कहा कि कोई भी व्यक्ति किसी प्रकार का प्रतिबन्धित/अवैध अस्त्र-शस्त्र जैसे आग्नेयास्त्र, बन्दूक, पिस्टल, राइफल, रिवाल्वर, तलवार, कटार, गुप्ती, चाकू, लाठी, स्टिक, भाला, बरछा, फरसा, गड़ासा एवं किसी भी प्रकार का विस्फोटक पदार्थ जैसे हथगोला, बारूद, तेजाब आदि लेकर नही चलेंगा। उन्होने कहा कि लाइसेंसी शस्त्र धारको को खुलेआम शस्त्र लेकर चलने पर प्रतिबन्धित किया गया है। कोई भी व्यक्ति किसी भी माध्यम से अफवाह नही पैदा करेंगा और ना ही अफवाहों को फैलायेंगा। कोई भी सार्वजनिक स्थलों अपने भवनों अथवा छतों पर कंकड़, पत्थर, खाली बोतल का संग्रह नही करेंगा। डीएम ने बताया कि परीक्षा केन्द्रों में परीक्षार्थियों एवं परीक्षको तथा परीक्षा संचालन से संबंधित अधिकारी व कर्मचारियों के अतिरिक्त कोई भी व्यक्ति प्रवेश नही करेंगा। कोई भी व्यक्ति अनुचित मुद्रण अथवा प्रकाशन द्वारा परीक्षार्थियों को गुमराह नही करेंगा। परीक्षा केन्द्रों के आस-पास ध्वनि विस्तारण यंत्रों का प्रयोग तथा परीक्षा परिसर में मोबाइल फोन ले जाना पूर्णतया प्रतिबन्धित है।
  प्रियंका निरंजन ने कहा कि राजनैतिक दलों धार्मिक संगठनों तथा समस्त विभागों के समस्त सरकारी सेवको तथा मान्यता प्राप्त संघ/महासंघ/परिसंघ को धरना, सांकेतिक प्रदर्शन अथवा हड़ताल का आयोजन पूर्णतया प्रतिबन्धित रहेंगा, जिससे किसी जाति विशेष अथवा धर्म विशेष व्यक्तियो को आघात पहुंचे तथा कानून एवं शान्ति व्यवस्था कुप्रभावित हो। इसका उल्लंघन भारतीय दण्ड संहिता की धारा-188 के अन्तर्गत दण्डनीय अपराध होगा। उन्होंने कहा कि यह आदेश ड्यूटी पर तैनात सरकारी अधिकारियों/कर्मचारियों, सिक्ख समुदाय के धार्मिक हथियार के रूप में कृपाण धारण करने, बूढे/दिव्यांग के छड़ी/लाठी का प्रयोग करने, शव यात्रा, वैवाहिक कार्यक्रम करने वाले लोगो पर लागू नही होंगा किन्तु ध्वनि विस्तारक यत्रों के प्रयोग के लिए पूर्व अनुमति लेनी होगी। 

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